Skip to main content

टीएमसी ने मुकुल को कहा गद्दार

त्रिपुरा परिणाम के बाद पश्चिम बंगाल में राजनीतिक घमासान शुरू हो गया है. इस चुनाव परिणाम के बाद बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस में आपसी बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है. क्यों
मार्च 3 को संवाददाता सम्मेलन के दौरान पार्थ चटर्जी
त्रिपुरा चुनाव परिणाम के साथ ही पश्चिम बंगाल में राजनीतिक घमासान शुरू हो गया है. इस चुनाव परिणाम के बाद बंगाल में बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस में आपसी बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है. क्योंकि त्रिपुरा के बाद अगला चुनाव भले ही पंचायत चुनाव हैं, वह पश्चिम बंगाल में है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने स्पष्ट रूप से कहा है कि त्रिपुरा में बीजेपी की जीत और वामफ्रंट की हार के चलते सीपीएम से अधिक दुखी तृणमूल है. त्रिपुरा में बीजेपी के जीत की लहर को रोकने के लिये तृणमूल और सीपीएम ने आपस में अंदुरूनी जोट किया था. लेकिन उसके बाद भी कोई लाभ नहीं हुआ है. चुनाव के बाद ही हमने कह दिया था कि त्रिपुरा में भगवा लहरायेगा. त्रिपुरा के लोग लाल जमाने से मुक्ति पाना चाहते थे, इसी कारण 91 फीसदी वोट त्रिपुरा में हुये थे. लोग रात नौ बजे तक लाइन में खड़े थे. भले ही भीतर-भीतर तृणमूल ने वामफ्रंट को आक्सीजन दिया, लेकिन दोनों दल पतन की राह पर हैं. अब बंगाल की भगवा लहर की बारी है और पंचायत चुनाव से ही इसका असर दिखने लगेगा.No automatic alt text available.
Troll Indian Politics
वामपंथियों के घर के जीर्णोधार से नहीं होगा कोई फायदा


 त्रिपुरा परिणाम के बाद पश्चिम बंगाल में राजनीतिक घमासान शुरू हो गया है. इस चुनाव परिणाम के बाद बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस में आपसी बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है. क्योंकि त्रिपुरा के बाद अगला चुनाव भले ही पंचायत चुनाव हैं वह पश्चिम बंगाल में है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने स्पष्ट कहा है कि त्रिपुरा में बीजेपी की जीत और वामफ्रंट की हार के चलते सीपीएम से अधिक दुखी तृणमूल है. त्रिपुरा में बीजेपी के जीत के लहर को रोकने के लिये तृणमूल और सीपीएम ने आप में अंदुरूनी जोट किया था. लेकिन उसके बाद भी कोई लाभ नहीं हुआ है. चुनाव के बाद ही हमने कह दिया था कि त्रिपुरा में भगवा लहरायेगा. त्रिपुरा के लोग लाल जमाने से मुक्ति पाना चाहते हैं, इसी कारण 91 फीसदी वोट त्रिपुरा में हुये थे. लोग रात नौ बजे तक लाइन में खड़े थे. भले ही भीतर ही भीतर तृणमूल ने वामफ्रंट को आक्सीजन दिया, लेकिन दोनों दल पतन की राह पर हैं. अब बंगाल की बारी है.
जीत के बाद बीजेपी कार्यालय के बाहर भगवा रंग में
रंगे हुये महिला मोर्चा की नेता और सदस्य
वहीं बीजेपी की राज्यसभा सांसद रूपा गांगुली भी त्रिपुरा के परिणाम से काफी खुशी और उत्साहित दिखी है. शनिवार को रूपा गांगुली को भगवा साड़ी में थिरकते भी देखा गया. उन्होंने बंगाल की सीएम ममता बनर्जी का नाम लिये बगैर कहा है कि भले ही तृणमूल वाले सीपीएम के नेताओं के घर का जीर्णोधार करें, लेकिन अब इसका उन्हें कोई लाभ नहीं मिलेगा.  तृणमूल वाले जितना भी सीपीएम वाले को समझायें , जितना भी तृणमूल सीपीएम के साथ सहानुभूति दिखायें, लेकिन दाल गलने वाला नहीं है. रूपा गांगुली ने कहा है कि बंगाल में केंद्रीय सरकार की योजनाओं को राज्य सरकार अपना नाम देकर चला रही है. जिला-जिला में मीडिया को बुलाकार प्रशासनिक बैठक किया जा रहा है. यह सब करके बंगाल की जनता को बेवकूफ नहीं बनाया जा सकेगा. बंगाल की सीएम को दिखावा से अधिक काम करने की जरूरत है. मालूम हो कि कुछ दिनों पहले बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने बंगाल के पूर्व मुख्यमंत्री और वामफ्रंट नेता बुद्धदेव भट्टाचार्य को जन्म दिन पर गुलदस्ता और मीठाई भेजी था. साथ ही बुद्धदेव के घर के जीर्णोधार करने का निर्देश कोलकाता नगर निगम के आयुक्त को दिया था.
एक गद्दार ने तृणमूल के वोट को डाला बीजेपी की झोली में


 त्रिपुरा परिणाम के बाद पश्चिम बंगाल में राजनीतिक घमासान शुरू हो गया है. इस चुनाव परिणाम के बाद बीजेपी और तृणमूल कांग्रेस में आपसी बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है. क्योंकि त्रिपुरा के बाद अगला चुनाव भले ही पंचायत चुनाव हैं वह पश्चिम बंगाल में है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने स्पष्ट कहा है कि त्रिपुरा में बीजेपी की जीत और वामफ्रंट की हार के चलते सीपीएम से अधिक दुखी तृणमूल है. त्रिपुरा में बीजेपी के जीत के लहर को रोकने के लिये तृणमूल और सीपीएम ने आप में अंदुरूनी जोट किया था. लेकिन उसके बाद भी कोई लाभ नहीं हुआ है. चुनाव के बाद ही हमने कह दिया था कि त्रिपुरा में भगवा लहरायेगा. त्रिपुरा के लोग लाल जमाने से मुक्ति पाना चाहते हैं, इसी कारण 91 फीसदी वोट त्रिपुरा में हुये थे. लोग रात नौ बजे तक लाइन में खड़े थे. भले ही भीतर ही भीतर तृणमूल ने वामफ्रंट को आक्सीजन दिया, लेकिन दोनों दल पतन की राह पर हैं. अब बंगाल की बारी है.
त्रिपुरा जीत के बाद बीजेपी कार्यालय से बाहर निकलते मुकुल राय
वहीं तृणमूल ने भी बीजेपी को टार्गेट किया है. त्रिपुरा में बीजेपी की जीत और टीएमसी का खाता नहीं खुलने से खफा तृणमूल ने इसके लिये मुकुल राय को जिम्मेदार ठहराया है. तृणमूल के महासचिव और राज्य के शिक्षा मंत्री मुकुल राय का नाम लिये बगैर कहा है कि त्रिपुरा चुनाव को लेकर हमने कोई बड़ा सपना नहीं पाल रखा था. लेकिन मैं इस बात को साफ कर देना चाहता हूं कि त्रिपुरा में हमारे वोट को एक गद्दार ने गोपनीय तरीके से बीजेपी के झोली में डलवा दिया है. गौरतलब है कि पार्थ ने मुकुल राय को टार्गेट कर यह बात कही है, यह स्पष्ट है. मालूम हो कि बंगाल में तृणमूल की सरकार आने के साथ ही तृणमूल ने अपना दूसरा राज्य त्रिपुरा को मान रखा था, क्योंकि यहां वामफ्रंट की सरकार थी. कांग्रेस के छह विधायकों को तृणमूल में शामिल कराकर, यहां पार्टी का विस्तार शुरू किया था. लेकिन कुछ माह पहले ही वे सभी विधायक बीजेपी में शामिल हो गये. इसके बाद ही मुकुल राय तृणमूल से निकल बीजेपी में शामिल हुये थे. उसके बाद से ही त्रिपुरा में पार्टी का जनाधार कम होने लगा. इस बार के चुनाव में तृणमूल सभी सीटों पर उम्मीदवार भी नहीं दे पायी. तृणमूल महासचिव पार्थ चटर्जी ने आगे कहा है कि त्रिपुरा के लोगो का क्षोभ वोट में दिखा है. वहां जिस प्रकार से बीजेपी ने फोर्स और सोर्श लगा दिया था, उसके बदले में वामफ्रंट तो चुप ही थे. सीपीएम के घमंड ने उन्हें डूबो दिया है.












Comments

AUTHOR

My photo
shannomagan
To write on general topics and specially on films;THE BLOGS ARE DEDICATED TO MY PARENTS:SHRI M.B.L.NIGAM(January 7,1917-March 17,2005) and SMT.SHANNO DEVI NIGAM(November 23,1922-January24,1983)

Popular posts from this blog

राखी सावंत की सेक्सी वीडियो वायरल

बॉलीवुड की ड्रामा क्वीन राखी सावंत हमेशा अपनी अजीबो गरीब हरकत से सोशल मिडिया पर छाई रहती हैं। लेकिन इस बार वह अपनी बोल्ड फोटो के लिए चर्चे में हैं. उन्होंने हाल ही में एक बोल्ड फोटो शेयर की जिसमें वह एकदम कहर ढाह रही हैं. फोटो के साथ-साथ वह कभी अपने क्लीवेज पर बना टैटू का वीडियो शेयर करती हैं तो कभी स्नैपचैट का फिल्टर लगाकर वीडियो पोस्ट करती हैं. वह अपने अधिकतर फोटो और वीडियो में अपने क्लीवेज फ्लांट करती दिखती हैं. राखी के वीडियो को देखकर उनके फॉलोवर्स के होश उड़ जाते हैं. इसी के चलते उनकी फोटो और वीडियो पर बहुत सारे कमेंट आते हैं. राखी अपने बयानों की वजह से हमेशा सुर्खियों में रहती हैं.राखी अक्सर अपने रिलेशनशिप को लेकर हमेशा चर्चा में बनी रहतीं हैं. राखी कभी दीपक कलाल से शादी और लाइव हनीमून जैसे बयान देती हैं तो कभी चुपचाप शादी रचाकर फैंस को हैरान कर देती हैं. हंलाकि उनके पति को अजतक राखी के अलावा किसी ने नहीं देखा है. वह अपने पति के हाथों में हाथ डाले फोटो शेयर करती हैं लेकिन फोटो में पति का हाथ ही दिखता है, शक्ल नहीं. इतना ही नहीं सोशल मीडिया पर राखी जो भी शेयर करती हैं वह भी चर्चा ...

भोजपुरी एक्ट्रेस त्रिशा कर मधु का MMS…सोशल मीडिया पर हुआ लीक

सोशल मीडिया पर भोजपुरी एक्ट्रेस और सिंगर त्रिशा कर मधु का MMS लीक हो गया है, जिससे वो बहुत आहत हैं, एक्ट्रेस ने सोशल मीडिया पर अपना दर्द बयां किया है, त्रिशा मधु ने इस बात को कबूल किया है कि वीडियो उन्होंने ही बनाया है लेकिन इस बात पर यकीन नहीं था कि उन्हें धोखा मिलेगा। गौरतलब है कि हाल ही में त्रिशा का सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा था जिसमें वह एक शख्स के साथ आपत्तिजनक स्थिति में नजर आ रही थीं। इस वीडियो के वायरल होने के बाद अभिनेत्री ने इसे डिलीट करने की गुहार लगाई साथ ही भोजपुरी इंडस्ट्री के लोगों पर उन्हें बदनाम करने की साजिश का आरोप लगाया। त्रिशा मधु कर ने अपने फेसबुक पेज पर एक वीडियो के साथ पोस्ट लिखा है जिसमें कहा, आप लोग बोल रहे हैं कि खुद वीडियो बनाई है। हां, हम दोनों ने वीडियो बनाया थ। पर मुझे ये नहीं मालूम था कि कल को मेरे साथ धोखा होने वाला है। कोई किसी को गिराने के लिए इतना नीचे तक गिर जाएगा, यह नहीं पता था। इससे पहले त्रिशा ने वायरल हो रहे वीडियो पर अपना गुस्सा जाहिर किया था और कहा था कि उनको बदनाम करने को साजिश की जा रही है। त्रिशा मधु कर ने सोशल मीडिया पर ए...

Netflix फैला रहा हिन्दू घृणा : ‘हल्लिलूय्याह’ बन गया ‘अनंत आनंदम्’, बच्चों का यौन शोषण करने वाला हिन्दू बाबा

                             Netflix लो वेब सीरीज 'राणा नायडू' में वेंकटेश और राणा दग्गुबती भारत में आजकल गालियों और सेक्स को ही वेब सीरीज मान लिया गया है। इसमें अगर हिन्दू घृणा का छौंक लग जाए तो फिर कहना ही क्या। चाहे ‘पाताल लोक’ में पंडित के मुँह से माँ की गाली बुलवाने वाला दृश्य हो या फिर ‘मिर्जापुर’ में ब्राह्मण को लालची बता कर उसे उठा कर भगाने का, OTT पर धड़ाधड़ रिलीज हो रहे ये वेब सीरीज इन मामलों में निराश नहीं करते। ऐसी ही एक नई वेब सीरीज Netflix पर आई है, ‘राणा नायडू’ नाम की। हिन्दू भावनाओं के प्रति जितनी जागरूकता सरकार और हिन्दुओं में देखी जा रही है, उतनी कभी नहीं। 70 के दशक में वैश्यवृत्ति पर आधारित निर्माता-निर्देशक राम दयाल की फिल्म 'प्रभात' का प्रदर्शन हुआ, जिसे विश्व हिन्दू परिषद द्वारा नायक और नायिका के राम एवं सीता होने पर आपत्ति करने राम दयाल को दोनों के नाम परिवर्तित होने को मजबूर होना पड़ा था। इसके अलावा कई फिल्में आयी जिनमें हिन्दू मंदिरो को बदनाम किया जाता रहा है। यही कारण है कि राहुल गाँधी द्वा...