
इस पार्टी को मैदान में इस लिए उछाला गया था, ताकि खिचड़ी बनाकर केजरीवाल के हाथ सत्ता देकर भ्रष्टाचार के सारे सबूत नष्ट करवा कर देश को पुनः चुनाव में धकेल दिया जाए।
49-दिन की सरकार गिरने उपरान्त जो इस पार्टी के टिकट पर जीते या हारे लोग भाजपा में आये, भाजपा ने तुरन्त उन्हें गले लगा, टिकट दे दिए। यही कारण था भाजपा मात्र तीन सीटों पर सिमट कर रह गयी। यदि भाजपा ने इस पार्टी से आये लोगों को टिकट नहीं दिए होते, भाजपा की इतनी दुर्गति नहीं होती।
सीडी कांड मात्र एक षड्यंत्र
क्या बलात्कार का यह रूप होता है? |
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नशे की जाँच हो? |
दिल्ली के महिला एव बाल विकास मंत्री व् आम आदमी पार्टी के नेता सन्दीप कुमार की अश्लील वीडियो ठीक उसी समय सामने क्यों आया है?? जब सभी राजनितिक दलों को ये मालूम था की सोनिया गांधी के दामाद राबोर्ट बढेरा की जमीन घोटाले की जांच रिपोर्ट बस सामने आने ही वाली है। जैसे ही राबोर्ट बढेरा जमीन घोटाले की रिपोर्ट जस्टिस ढींगरा ने हरियाणा सरकार को सौंपी उसके कुछ समय बाद यह न्यूज सामने आने लगा की आम आदमी पार्टी के एक नेता का अश्लील विडीयो दिल्ली के एलजी नजीब जंग के पास भेजी जाने वाली है। ये न्यूज बाहर आते ही आम आदमी पार्टी सुप्रीमो व् दिल्ली के मुख्यमन्त्री अरविन्द केजरीवाल ने फुर्ती दिखाते हुए महिला एव बाल विकाश मंत्री सन्दीप कुमार को मंत्री पद से बर्खास्त कर दिया। ( ध्यान रहे सिर्फ मंत्री पद से बर्खास्त किया, सन्दीप कुमार अभी आप में बने हुए हैं। ) उसके बाद दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया सामने आये और शेखी बघाड़ने लगे की वीडियो सामने आते ही हमने मंत्री को बर्खास्त कर दिया। उनका आगे कहना था की इतना कड़ा एक्शन कोई भी पार्टी अपने भ्रष्ट नेताओ पर नही उठाती।
कांग्रेस और आआप सिक्के के एक ही पहलू
रॉबर्ट वाड्रा डीएलएफ जमीन सौदे की जांच के लिए बने जस्टिस ढींगरा आयोग ने अपनी रिपोर्ट हरियाणा सरकार को सौंप चुकी |
जबकी यह अश्लील वीडियो पहुँचाने वाले सख्स का दावा है की बर्खास्त मंत्री सन्दीप कुमार वाली वीडियो अरविन्द केजरीवाल को 15 दिनो पहले ही दे दी गई थी। फिर इतने दिनों तक सन्दीप कुमार का अश्लील वीडियो अरविन्द केजरीवाल द्धारा दबा कर किसका इंतजार किया जा रहा था। वह इंतज़ार था वढेरा रिपोर्ट का हरियाणा मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को सौंपी, सीडी मुद्दा उछाल कांग्रेस की करतूतों पर चादर डालने का सफल प्रयास कर, फिर सिद्ध कर दिया कि आआप और कांग्रेस सिक्के के एक ही पहलू हैं, दोनों में कोई अन्तर नहीं।
भाजपा को इस चक्रव्यूह को भेदना होगा
आआप-कांग्रेस के चक्रव्यूह को भेदना होगा मोदीजी-अमितजी |
भाजपा जिस दिन इस मकड़जाल एवं चक्रव्यूह को भेद कांग्रेस और आआप को बेनकाब करने में सफल हो गयी, कोई प्रशांत किशोर या गठबंधन भाजपा को हरा नहीं पाएगा। अब तक ये सभी भाजपा को इस चक्रव्यूह में बांधे रखने की चाल में सफल हो रहे हैं। जब तक भाजपा इस चक्रव्यूह नहीं भेदती, दिल्ली, बिहार,तमिलनाडु, केरल और बंगाल आदि हाथ से निकलते रहेंगे। जरुरत है, सर्वप्रथम कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के गुप्त समझौते को सार्वजानिक करना। भाजपा को चाहिए अपनी महिला विंग को सीडी कांड में और पुरुष वर्ग को रोबर्ट कांड जो कांग्रेस-आआप दबाने में सफल हुए है, उसे जनता में उजागर किया जाये।
भटका दिया रोबर्ट वढेरा से जनता का ध्यान

••• और जैसे ही पकडे जाते हैं और सजा का ऐलान होता है तब वो मुसलमान बन जाते हैं,, !!!???
*** ऐसे ही आपिया मंत्री संदीप कुमार जब पायजामा उतार कर महिला कल्याण कर रहा था तब उसकी कोई जाति नहीं थी !!! ???
••• और जैसे ही सीडी बाजार में आ गई तो ये दलित हो गया,,
~~~~और तो और ये हरामखोर लग्जरी गाङी में से उतर कर अपने को गरीब दलित भी बताता है √√√
*** ..क्या अब दलित समाज इस दोगले के मुँह पर थूकने के लिये आगे आयेगा ...? !
••• ...दयाशंकर की टिप्पणी पर तो बङा नंगा नाच किया था इसने
अब ये दोगला पूरे दलित समाज को गंदा कर रहा ..है तो कॊइ बयान नही आया.
शीला दीक्षित को वाजपेयी से शिकायत नहीं
कहाँ गए शीला के विरुद्ध 370 सबूत? यह भ्रष्टाचार के सबूत थे या कश्मीर की धारा 370 के सबूत ? |
दिल्ली सरकार को प्राप्त जिन अधिकारों से दिल्ली के अभी तक के मुख्यमंत्रियों का गुजारा होता चला आ रहा था । केंद्र में अटलजी की सरकार रहने के बाद भी शीला दीक्षित जी को कोई समस्या नहीं हुई और उन्होंने निरंतर विकास किये दिल्ली की जनता उनकी कार्यशैली से संतुष्ट न होती तो उन्हें क्यों देती इतना लंबा कार्यकाल! कुलमिलाकर सभी मुख्यमंत्रियों ने अभी तक शांति पूर्वक दिल्ली का विकास किया किसी की न तो PM से लड़ाई रही और न ही LG से ,पुलिस को अपने अंडर में लेने के लिए भी कोई मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की तरह इतना पागल कभी नहीं हुआ क्यों ?
केजरीवाल जी! यदि आप अपनी पार्टी और सरकार में चल रही सेक्स स्कैंडल जैसी और भी तमाम प्रकार की असामाजिक और अनैतिक गतिविधियों से डरते नहीं हैं, फिर पुलिस को अपने अंडर में लेने की इतनी हड़बड़ी क्यों है ?
दिल्ली सरकार और पार्टी में ऐसा और क्या क्या हो रहा है वो केजरीवाल जी अभी सार्वजनिक करेंगे या तब तक मौन रहकर उन अपराधियों को छाती में चिपकाए बैठे रहेंगे जब तक कोई दूसरा उनकी CD बनाकर नहीं दिखाएगा ?
दिल्ली की जनता का मानना है कि संदीपकुमार जैसे और भी हीरे छिपे हो सकते हैं आपकी गुदड़ी में जब जो आपकी बात नहीं मानेगा या आपसे झगड़ेगा तब उसे हटाने के लिए दिखाई जाएगी उसकी CD और इसी बहाने उसे निकाल बाहर कर दिया जाएगा ! इसमें आखिर सच्चाई क्या है ?
अरविंद जी ! कुछ लोगों का मानना है कि ऐसी ही ऐय्यासी करने के कारण घट जाता था आपके विधायकों का फंड ! अन्यथा जिस कमाई से उनका गुजारा पहले से होता चला आ रहा था वो अचानक इतनी कम क्यों पड़ जाने लग गई ! 'आप' पार्टी से जुड़ने और 'आप' पार्टी की सरकार बनने के बाद इनकी जरूरतें अचानक इतनी क्यों बढ़ गईं कि धन मुहैया करवाने हेतु बढ़ानी पड़ी विधायकों की सैलरी !
अब मुँह से मोदी का नाम क्यों नहीं निकला?
यह कार्ड जनता को इस जाल में फंसा कर, एक तीर से दो निशाने साधने का प्रमाण है। और यह ऐसा कांड है, जिसमे मोदी का नाम नहीं आया। क्या इस काम को करने के लिये मोदी ने नहीं रोका?यह स्टिंग तो मोदी ने नहीं किया था? फिर जिस आराम से कल्याण कार्य हो रहा है, उसे बलात्कार का नाम देना, बलात्कार का भी अपमान करना है।
दलित कार्ड सुनियोजित ड्रामा

केजरीवाल जी ! शिक्षामंत्री का एकांत में शिक्षकों के साथ होना यदि दोष नहीं है इसी प्रकार से चिकित्सा मंत्री का चिकित्सकों के साथ एकांत में होना भी यदि दोष नहीं है तो महिला कल्याण मंत्री यदि एकांत में किसी महिला के साथ दिखाई पड़ रहा है तो इतना हो-हल्ला क्यों ?
अरविंद जी ! राजनीति में शिक्षा अनिवार्य क्यों न की जाए
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महिला का कल्याण करते या करवाते, दिल्ली के महिला कल्याण मन्त्री ; इस तरह की क्रीड़ा को बलात्कार का नाम देना, बलात्कार का अपमान नहीं? |

दिल्ली सरकार के सभी मंत्री ऐसे ही देखते होंगे अपने अपने मंत्रालयों के काम काज ! वास्तव में तरक्की कर रही है दिल्ली !
वाह री दोगली व गंदी राजनीति...धिक्कार है तुम पर
कहाँ है अब अन्ना हज़ारे?
बाबा रामदेव के कांग्रेस के घोटालों से जागृत हुई जनता को भ्रमित करने का सफल प्रयास; वाह अन्ना ! वाह ! |
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गुजरात में केजरीवाल दौरे में जीप में बैठा हार्दिक पटेल |

अन्ना यदि ईमानदार एवं निष्ठावान गांधीवादी है, तो राष्ट्र को बताएं कि जिस चार्टर्ड प्लान से अन्ना पुणे से दिल्ली आए, वह किस वह किस कम्पनी का था? किसने उनके आने का खर्चा किया? क्या यह सच नहीं कि उस चार्टर्ड प्लेन में अन्ना के साथ कौन बैठा था? वह व्यक्ति उन्हें क्या मंत्रणा पढ़ाथा? क्या यह सच नहीं कि अन्ना के पृदर्शन को सफल बनाने के लिए पलवल से भीड़ मंगवायी गयी? क्या यह सच नहीं कि इस आंदोलन को सफल बनाने मे कांग्रेसी उद्योगपति पानी की तरह पैसा नहीं बहा रहे? क्या यह सच नहीं के एकता परिषद परिषद के पी. वी. राजगोपाल अन्ना के किसान आंदोलन से अलग हो गए हैं? केरल से गांधीवादी कार्यकर्ता गांधी शांति प्रतिष्ठान के उपाध्यक्ष एवं एकता परिषद के प्रमुख राजगोपाल ने 2011 में ही कहा था कि अन्ना टीम के निर्णयों के उन्हें नहीं पूछा जाता।


यदि वर्तमान मोदी सरकार इस षडयंत्र को बेनकाब करने में सफल हो जाती है, तो एक तीर से कम से कम तीन शिकार जरूर होंगे, कांग्रेस 2 अन्ना और नम्बर 3 आम आदमी पार्टी। अन्ना को प्रोजेक्ट करने वाले पूंजीपति एवं प्रदर्शन में भाग लेने वाले गैर सरकारी सामाजिक संस्थान।
सूत्रों के अनुसार राहुल नहीं चाहते कि कांग्रेस की इतनी दुर्दशा होने के बाद भी अन्ना के किसी आंदोलन एवं आआप को किसी भी तरह से समर्थन दिया जाए, क्योंकि इस गुप्त समर्थन से भाजपा को नहीं बल्कि कांगे्रस को बहुत अधिक क्षति पहंुच रही है जिसकी पूर्ति के लिए कांग्रेस को कही अधिक कठोर परिश्रम करना पडे़गा। वास्तव में अन्ना को एक आआप को समथर्न ही कांग्रेस का सर्वनास कर रहा है। किन्तु कांगेस में कोई राहुल की बात सुनने को तैयार नहीं, क्योंकि विनाश काले विपरीत बुद्धि! यानि भाजपा के विश्व षडयंत्र में कांग्रेस ने अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मार पार्टी सर्वनाश कर लिया।
2011 में बाबा रामदेव का कांग्रेस के घोटालों के विरुद्ध रामलीला ग्राउंड में धरना |
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