पिछले कई दिनों से आप के बर्खास्त मंत्री संदीप कुमार की रंग रंगरेलियों को स्पाई कमरे पर उतारा जा रहा था। दिल्ली के सुल्तानपुरी इलाके में संदीप की छवि काफी खराब थी। यूं तो सीडी में सिर्फ दो अलग-अलग महिलाओं के साथ तस्वीरें हैं लेकिन संदीप के व्यभिचार की काफी शिकायतें थी। 4 से ज्यादा लड़कियां की तस्वीरें रिकॉर्ड की गयी हैं जिनमे से सिर्फ 2 को अब तक रिलीज़ किया गया है. सूत्रों के मुताबिक अक्सर उनके दफ्तर में देर रात तक महिलाएं आती थी। दिल्ली से बाहर होटल में भी संदीप को महिलाओं के साथ देखा गया है। कोई महिला नौकरी के लिए तो कोई पार्टी में उच्च स्थान पाने के लिए।
सूत्रों के मुताबिक एक ऐसी शोषित महिला के कहने पर संदीप के मुखालिफ एक स्थानीय नेता ने सीडी तैयार करवाई थी. इस बात का ख्याल रखा गया था की एक से ज्यादा महिला के साथ संदीप को सेक्स करते हुए दिखाया जाए। इसके लिए काफी सोच समझ कर उनके एक करीबी स्टाफ की मदद से संदीप का स्टिंग आपरेशन किया गया।
सीडी बनने के बाद आज शाम यानी ३१ अगस्त की शाम एक हाथ से लिखी चिट्ठी के साथ एक पेन ड्राइव में संदीप का सेक्स विडियो केजरीवाल दफ्तर में भेज गया और साथ ही पेन ड्राइव और चिट्ठी की कॉपी कई मीडिया संस्थानों को भी भेजी गयी. सूत्रों का कहना है की जिस कमरे में संदीप रंग रंगरेलियां मनाते थे वहां पर एक स्पाई कैमरा का इंतज़ाम किया गया. सूत्रों का कहना की कुछ हाई फाई महिला मॉडल भी संदीप के साथ दिल्ली के एक ठिकाने में देखी गयी थीं. संदीप के साथ आप के एक नेता भी रंग रंगेली मनाते थे. उनकी सीडी भी जल्द आने वाली है ऐसा दबीं जुबान में बताया जा रहा है
मंत्री संदीप कुमार नग्न अवस्था में मंत्री संदीप कुमार नग्न अवस्था में लोकेशन जहां मंत्री संदीप की रंग रंगेलिया को स्पाई कमरे पर उतारा जा रहा था
सूत्रों के मुताबिक दिल्ली पुलिस के हाथ 'आप' से बर्खास्त मंत्री के खिलाफ कुछ ऐसे सबूत लगे है, जिनके आधार पर पुलिस का यह दावा कर रही है कि सेक्स में फंसे मंत्री संदीप के खिलाफ अभी और सबूत मिल सकते है. पुलिस से जुड़े कुछ सूत्रों के मुताबिक दिल्ली पुलिस के कमीश्नर अलोक वर्मा और LG से मिलकर लड़कियों ने इस मामले की शिकायत कुछ फोटोग्राफ और कागज देकर की थी. जिसकी तफ्शीश अभी पूरी नहीं हुई है. बताया जाता है कि इस तफ्शीश के पूरा होते ही दिल्ली सरकार के इस मंत्री के कुछ और काले कारनामों का खुलासा हो सकता है.
भाजपा और कांग्रेस अब तक क्यों खामोश रही ?
वैसे पिछले कई दिनों से सोशल मीडिया पर यह समाचार चल रहा था। लेकिन हैरान था कि भाजपा और कांग्रेस अब तक इस संगीन मुद्दे पर चुप्पी क्यों साधे रहे? समाचारों में जिस सीडी को मात्र 9 मिनट की बताया जा रहा है, वास्तव में यह इससे दुगुने समय की है।
बात केवल यहीं तक सीमित नहीं है, यदि भाजपा और कांग्रेस ने गम्भीरता से इस मुद्दे की जाँच करेगी तो अभी और सीडी बाहर आने का इंतज़ार कर रही हैं। जो केवल केजरीवाल ही नहीं बल्कि आम आदमी पार्टी की देश में छवि ऐसी धूमिल कर देंगी, कोई सभ्य पुरुष इस पार्टी का नाम लेना भी पसन्द नहीं करेगा। पार्टी में सम्मिलित शायद ही कोई इस अपवाद से अपने आप को सुरक्षित सिद्ध कर पाए।
https://www.facebook.com/shobha.singh.338658/videos/1686108545046560/
योगेन्द्र और शान्ति भूषण को निकालना गलत निर्णय
इसमें दो राय नहीं कि अरविन्द केजरीवाल, संजय सिंह, दिलीप कुमार पाण्डेय, आशुतोष और मनीष सिसोदिया इन अपवादों से बहुत दूर हैं। लेकिन केजरीवाल स्वयं जानते हैं कि सत्ता की भूख में किन-किन लोगों को पार्टी में सम्मिलित किया है।योगेन्द्र यादव और शांति भूषण को बाहर का रास्ता दिखाना आआप को भविष्य में बहुत महँगा पड़ने वाला है। योगेन्द्र पार्टी को लम्बी रेस का घोडा बनाने में प्रयत्नशील थे, परंतु केजरीवाल अराजकता को अपना मूलमन्त्र मान चल रहे थे और चल भी रहे हैं । यदि योगेन्द्र और शान्ति भूषण आज पार्टी में होते, पार्टी की दिशा कुछ और ही होती।
आज स्थिति यह बन गयी है कि जो भी पार्टी आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता से लेकर किसी भी नेता को अपनी पार्टी में सम्मिलित करती है, वह पार्टी अपने लिए आत्मघाती दस्ता तैयार कर लेगी। क्योंकि पता नहीं किसकी सीडी या घोटाले का स्टिंग उजागर हो जाये और पार्टी को अपने दामन और छवि बचानी भारी पड़ जाए। विश्व में शायद केजरीवाल पार्टी ऐसी पार्टी है, जो इतने अल्प समय में इतने विवादों में घिरी हो। मजे की बात यह है कि केजरीवाल और सिसोदिया ने पार्टी को बनाए रखने के लिए किसी भी विवादित मन्त्री या विधायक को पार्टी से निष्कासित नहीं किया। ये दोनों भलीभांति जानते है कि जिस दिन इन विवादितों को पार्टी से निष्कासित किया, उसी दिन से पार्टी का पतन ऐसा शुरू होगा, कि समय पूर्व ही पार्टी स्वतः सत्ता से ऐसी बाहर होगी, कि भविष्य में चुनाव लड़ने योग्य ही नहीं रहेगी। विवादित नेता भी पार्टी नहीं छोड़ रहे, क्योंकि सभी जानते है कि जब पार्टी सत्ता में है कुछ नहीं होगा और पार्टी छोड़ते ही कोई बचाने वाला नहीं। लगता है, हालत यह है कि न कम्बल उनको छोड़ रहा है और न वह कम्बल को। क्योंकि विवादों ने पार्टी और विवादितों की आगे कुआँ पीछे खाई वाली स्थिति बन चुकी है। जनता को चाहिए ऐसे विवादितों और इनको संरक्षण देने वालों का सामाजिक बहिष्कार किया जाये ताकि समाज को दूषित होने से बचाया जा सके।
ऐसे ही लोगों ने राजनीतिक पार्टियों एक व्यवसाय बना दिया है। फिर अपनी चुनाव रैलियों में जो केजरीवाल अपने उम्मीदवारों को चरित्रवान होने का प्रमाण दे रहे थे, आज उन्हें निष्कासित करने से क्यों डर रहे हैं?
सूत्रों के मुताबिक एक ऐसी शोषित महिला के कहने पर संदीप के मुखालिफ एक स्थानीय नेता ने सीडी तैयार करवाई थी. इस बात का ख्याल रखा गया था की एक से ज्यादा महिला के साथ संदीप को सेक्स करते हुए दिखाया जाए। इसके लिए काफी सोच समझ कर उनके एक करीबी स्टाफ की मदद से संदीप का स्टिंग आपरेशन किया गया।
सीडी बनने के बाद आज शाम यानी ३१ अगस्त की शाम एक हाथ से लिखी चिट्ठी के साथ एक पेन ड्राइव में संदीप का सेक्स विडियो केजरीवाल दफ्तर में भेज गया और साथ ही पेन ड्राइव और चिट्ठी की कॉपी कई मीडिया संस्थानों को भी भेजी गयी. सूत्रों का कहना है की जिस कमरे में संदीप रंग रंगरेलियां मनाते थे वहां पर एक स्पाई कैमरा का इंतज़ाम किया गया. सूत्रों का कहना की कुछ हाई फाई महिला मॉडल भी संदीप के साथ दिल्ली के एक ठिकाने में देखी गयी थीं. संदीप के साथ आप के एक नेता भी रंग रंगेली मनाते थे. उनकी सीडी भी जल्द आने वाली है ऐसा दबीं जुबान में बताया जा रहा है
नौकरी के नाम पर ब्लू फिल्म बनाकर लड़कियों को करता था ब्लैकमेल
बताया जाता है कि मंत्री के जाल में करीब दस लड़कियां और फंसी हुई हैं. जिनको वह नौकरी दिलाने के बहाने ब्लैक मेल कर रहे थे.
दिल्ली की 'आप' सरकार के बाल विकास कल्याण मंत्री संदीप के सेक्स स्कैंडल का खुलासा होते ही उनकी काली करतूतों की कलई खुलने लगी है. बताया जाता है कि मंत्री के जाल में करीब दस और लड़कियां फंसी हुई हैं. जिनको वह नौकरी दिलाने के बहाने ब्लैक मेल कर रहे थे. यही नहीं कई बार मंत्री ने इन लड़कियों को अपने कार्यालय में भी बुलाया था,
15 दिन से सेक्स सीडी दबाए बैठे थे केजरीवाल! http://www.newsloose.com/2016/09/01/question-on-arvind-kejriwal-over-sandeep-kumar-sex-cd/ …
सूत्र तो यह भी बताते हैं कि मंत्रीजी अपनी बात मनवाने के लिए अपनी गाड़ी के ड्राइवर को कमरे से बाहर भेजकर लड़कियों को कमरे में बुलाया करते थे. इनमें से कुछ आप की वालेंटियर हुआ करती थीं और कुछ बाहरी लड़कियां हुआ करती थीं. बताया जाता है कि पुलिस के पास पर्याप्त सबूत न होने के कारण वह उनके खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं कर सकती थी. इसीलिए कमीश्नर अलोक वर्मा ने पुलिस को इस पूरे प्रकरण की जाँच कर सबूत जुटाने के आदेश दिए थे.
सूत्र बताते है कि दिल्ली पुलिस को इन पर शक है कि सरकार में मंत्री रहते हुए संदीप ने कुछ लड़कियों को नौकरी भी दिलवाई थी। जिसके चलते उसे लड़कियों को अपने कमरे में नौकरी के लिए बुलाते देर नहीं लगी. इसके साथ ही पुलिस को यह भी अंदेशा है कि कई लड़कियों का शारीरिक शोषण कर संदीप ने कहीं उनकी ब्लू फिल्म तो नहीं बना रखी थी. इतना ही नहीं दिल्ली पुलिस को केजरीवाल सरकार के इस मंत्री पर यह भी शक है कि वह लड़कियों को ब्लैक मेल भी किया करता था.
जनता भी जान गयी केजरीवाल की सच्चाई
फिलहाल इस बात का खुलासा तो पुलिस की जाँच पूरी होने के बाद ही हो सकेगा, लेकिन दिल्ली की जनता इतना जरूर जान गयी है कि जिस केजरीवाल को उसने अपना मसीहा समझकर दिल्ली का मुख्यमंत्री बनवाया था, उसकी सरकार में बाल विकास एवं महिला कल्याण जैसे महत्वपूर्ण विभाग का मंत्री उस नेता को बना देना जो लड़की बाज़ हो. और महिलाओं और लड़कियों की ब्लू फिल्म नौकरी दिलवाने के नाम पर बनाने का धंधा करता हो. बहरहाल केजरीवाल की सच्चाई जानकर अब दिल्ली की जनता की आँखे भी शर्म से झुकती हुई दिखाई दे रही है, कि जिस राज्य के राजा केजरीवाल हैं. उस राज्य में अपनी ईमानदारी का नगाड़ा नगाड़ा पीटने वाले सीएम
केजरीवाल ने अपनी सरकार में कैसे- कैसे महाभ्रष्टों को मंत्री बना दिया है. इसके पीछे की वजह अब जनता भी जान चुकी है.
आम आदमी पार्टी के मंत्री संदीप कुमार के सेक्स टेप ने देश की राजनीति में भूचाल ला दिया है। मंत्री संदीप कुमार की रंग रंगरेलियों को कैमरे पर देखा गया। जिसके बाद अगस्त 31 को शाम 9 बजे दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने महिला बाल कल्याण मंत्री संदीप कुमार को बर्खास्त कर दिया है। अब उनका एक और पुराना विडियो सामने आया है। जिसमे पूर्व मंत्री को शराब के नशे में झूमते हुए देखा जा सकता।
देखें उनका वीडियो
भाजपा और कांग्रेस अब तक क्यों खामोश रही ?
वैसे पिछले कई दिनों से सोशल मीडिया पर यह समाचार चल रहा था। लेकिन हैरान था कि भाजपा और कांग्रेस अब तक इस संगीन मुद्दे पर चुप्पी क्यों साधे रहे? समाचारों में जिस सीडी को मात्र 9 मिनट की बताया जा रहा है, वास्तव में यह इससे दुगुने समय की है।
बात केवल यहीं तक सीमित नहीं है, यदि भाजपा और कांग्रेस ने गम्भीरता से इस मुद्दे की जाँच करेगी तो अभी और सीडी बाहर आने का इंतज़ार कर रही हैं। जो केवल केजरीवाल ही नहीं बल्कि आम आदमी पार्टी की देश में छवि ऐसी धूमिल कर देंगी, कोई सभ्य पुरुष इस पार्टी का नाम लेना भी पसन्द नहीं करेगा। पार्टी में सम्मिलित शायद ही कोई इस अपवाद से अपने आप को सुरक्षित सिद्ध कर पाए।
https://www.facebook.com/shobha.singh.338658/videos/1686108545046560/
योगेन्द्र और शान्ति भूषण को निकालना गलत निर्णय
इसमें दो राय नहीं कि अरविन्द केजरीवाल, संजय सिंह, दिलीप कुमार पाण्डेय, आशुतोष और मनीष सिसोदिया इन अपवादों से बहुत दूर हैं। लेकिन केजरीवाल स्वयं जानते हैं कि सत्ता की भूख में किन-किन लोगों को पार्टी में सम्मिलित किया है।योगेन्द्र यादव और शांति भूषण को बाहर का रास्ता दिखाना आआप को भविष्य में बहुत महँगा पड़ने वाला है। योगेन्द्र पार्टी को लम्बी रेस का घोडा बनाने में प्रयत्नशील थे, परंतु केजरीवाल अराजकता को अपना मूलमन्त्र मान चल रहे थे और चल भी रहे हैं । यदि योगेन्द्र और शान्ति भूषण आज पार्टी में होते, पार्टी की दिशा कुछ और ही होती।
आज स्थिति यह बन गयी है कि जो भी पार्टी आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता से लेकर किसी भी नेता को अपनी पार्टी में सम्मिलित करती है, वह पार्टी अपने लिए आत्मघाती दस्ता तैयार कर लेगी। क्योंकि पता नहीं किसकी सीडी या घोटाले का स्टिंग उजागर हो जाये और पार्टी को अपने दामन और छवि बचानी भारी पड़ जाए। विश्व में शायद केजरीवाल पार्टी ऐसी पार्टी है, जो इतने अल्प समय में इतने विवादों में घिरी हो। मजे की बात यह है कि केजरीवाल और सिसोदिया ने पार्टी को बनाए रखने के लिए किसी भी विवादित मन्त्री या विधायक को पार्टी से निष्कासित नहीं किया। ये दोनों भलीभांति जानते है कि जिस दिन इन विवादितों को पार्टी से निष्कासित किया, उसी दिन से पार्टी का पतन ऐसा शुरू होगा, कि समय पूर्व ही पार्टी स्वतः सत्ता से ऐसी बाहर होगी, कि भविष्य में चुनाव लड़ने योग्य ही नहीं रहेगी। विवादित नेता भी पार्टी नहीं छोड़ रहे, क्योंकि सभी जानते है कि जब पार्टी सत्ता में है कुछ नहीं होगा और पार्टी छोड़ते ही कोई बचाने वाला नहीं। लगता है, हालत यह है कि न कम्बल उनको छोड़ रहा है और न वह कम्बल को। क्योंकि विवादों ने पार्टी और विवादितों की आगे कुआँ पीछे खाई वाली स्थिति बन चुकी है। जनता को चाहिए ऐसे विवादितों और इनको संरक्षण देने वालों का सामाजिक बहिष्कार किया जाये ताकि समाज को दूषित होने से बचाया जा सके।
ऐसे ही लोगों ने राजनीतिक पार्टियों एक व्यवसाय बना दिया है। फिर अपनी चुनाव रैलियों में जो केजरीवाल अपने उम्मीदवारों को चरित्रवान होने का प्रमाण दे रहे थे, आज उन्हें निष्कासित करने से क्यों डर रहे हैं?
पोस्टर लगाने वाले ने ही खोल दीं उनकी काली करतूतें
दो साल पहले दिल्ली की सुल्तानपुर माज़रा में रहने वाले ओम प्रकाश बाल विकास कल्याण मंत्री संदीप कुमार के पोस्टर चिपकाया करते थे. लेकिन आज उनके उसी कार्यकर्ता ने मीडिया को सीडी देकर केजरीवाल को उन्हें मंत्री पद से बर्खास्त करने पर मजबूर कर दिया. आरोप है कि यह सीडी 15 दिन पहले ही दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को दी गयी थी.
सरकार के कई मंत्रियों के पास थी सीडी
बावजूद इसके महिला बाल कल्याण विकास मंत्री संदीप कुमार के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गयी. बताया जाता है कि इतना ही नहीं संदीप के खिलाफ सरकार के कई अन्य मंत्रियों को भी यह सीडी ओम प्रकाश ने दी थी. लेकिन किसी ने भी संदीप के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की. ऐसा सीडी मीडिया को सौंपने वाले व्यक्ति का दावा है.
'आप' के मंत्री को बचा रही थी सरकार
और तो और सेक्स कांड में फंसे अपनी पार्टी के मंत्री के खिलाफ कोई कार्रवाई तो करना दूर बल्कि उन्हें बचाये जाने की कोशिश की जाती रही. ओम प्रकाश का यह भी दावा है कि अगस्त 31 को जब उन्होंने सीडी मीडिया को सौंपी तो जैसे ही दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल को इस बात की खबर लगी उन्होंने फौरी कार्रवाई करते हुए संदीप को बर्खास्त कर दिया. इसके साथ ही ट्वीट कर खुद इस बात की जानकारी पत्रकारों को दी.
क्या बोले योगेंद्र यादव ?
फिलहाल 'आप' से अलग हुए नेता योगेंद्र यादव का आरोप है की पंजाब भेजे गए लोगों में से भी पार्टी के कई ऐसे नेता हैं, जिन्होनें भी इसी तरह के कारनामे किये हैं, लेकिन उन पर हम नाम लेकर अभी इसलिए आरोप नहीं लगा सकते क्यों कि उनके खिलाफ कोई सबूत उनके पास नहीं हैं. लेकिन जब भी सबूत होंगे. वह खुलकर बोलेंगे. फिलहाल सवाल इस बात का है की जो आदमी कल तक मंत्रीजी के पोस्टर लगाया करता था. वह आज अपने ही मंत्री के खिलाफ क्यों हो गया ?
चैनल को सीडी भेजे जाते ही संदीप को किया बर्खास्त
बहरहाल ओम प्रकाश ने बताया की उन्हें यह सीडी एक अनजान व्यक्ति ने दी थी. जिससे सीडी मिलने के बाद जब उसने घर जाकर उसे देखा तो वह दंग रह गया. इसके बाद उसने दिल्ली सरकार को सीडी देकर उनसे संदीप को बर्खास्त करने की मांग करी. लेकिन संदीप को उलटे ही बचाने में लग गए. इसके बाद किसी ने इस सेक्स सीडी को अगस्त 31 को मीडिया तक पंहुचा दिया. इसके बाद 'आप' की सरकार हरकत में आयी और उसने फौरी कार्रवाई करते हुए संदीप को बर्खास्त किया.
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